दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा के नई दिल्ली विधानसभा क्षेत्र से उम्मीदवार प्रवेश वर्मा के खिलाफ आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन के आरोप लग गए हैं। आम आदमी पार्टी (AAP) ने चुनाव आयोग में उनकी शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि प्रवेश वर्मा और उनके समर्थकों ने पैसे बांटने, कंबल बांटने और बिना अनुमति के जॉब कैंप आयोजित करने जैसी गतिविधियाँ की हैं। इन आरोपों के आधार पर चुनाव आयोग ने दिल्ली पुलिस को जांच के आदेश दिए हैं।
आरोपों की मुख्य बातें
आम आदमी पार्टी ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है कि भाजपा कार्यकर्ताओं ने बिना अनुमति के प्रचार अभियान चलाते हुए जनता को लुभाने के लिए पर्चे बांटे। इन पर्चों में न तो प्रिंटर का विवरण था और न ही प्रकाशक का नाम था, जो कि जन प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 127-ए के तहत एक अपराध माना जाता है। इस कानून के तहत चुनाव प्रचार सामग्री पर प्रिंटर और प्रकाशक के विवरण का उल्लेख जरूरी होता है।
शिकायत में यह भी कहा गया है कि भाजपा कार्यकर्ताओं ने ‘हर घर नौकरी’ योजना के तहत कई जगहों पर जॉब कैंप आयोजित किए, और इनमें मतदाताओं को लुभाने की कोशिश की। इन कैंपों को बिना किसी अनुमति के चलाया गया था, जिससे आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन हुआ।
चुनाव आयोग की कार्रवाई
चुनाव आयोग ने इस शिकायत को गंभीरता से लिया और मामले की जांच के लिए दिल्ली पुलिस को आदेश दिए। आयोग के निर्देशों के बाद फ्लाइंग स्क्वॉड टीम ने प्रिंसेस पार्क क्षेत्र का दौरा किया, जहां इन आरोपों के बारे में शिकायत की गई थी, लेकिन वहां पर्चे बांटने का कोई ठोस सबूत नहीं मिला। इसके बावजूद आयोग ने मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस और संबंधित विभागों को कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
चुनाव आयोग ने स्पष्ट किया है कि यदि किसी उम्मीदवार या राजनीतिक दल द्वारा मतदाताओं को लाभ का लालच देने के प्रयास किए जाते हैं, जैसे गारंटी कार्ड बांटना, मतदाताओं का व्यक्तिगत डेटा (जैसे नाम, पता, मोबाइल नंबर) एकत्र करना, तो यह चुनाव कानून का उल्लंघन है। आयोग ने दिल्ली पुलिस से तत्काल रिपोर्ट देने को कहा है।
अवैध गतिविधियों पर सख्त रोक
आम आदमी पार्टी के कानूनी प्रकोष्ठ के प्रमुख प्रेमेंद्र पाल ने इस मामले को उजागर किया और आरोप लगाया कि भाजपा यह सारी गतिविधियाँ जानबूझकर कर रही है, ताकि मतदाताओं को प्रभावित किया जा सके। उन्होंने चुनाव आयोग से अनुरोध किया है कि इस प्रकार की अवैध गतिविधियों पर सख्त कार्रवाई की जाए और दोषियों के खिलाफ कड़ी सजा दी जाए।
प्रेमेंद्र पाल ने यह भी कहा कि आम आदमी पार्टी दिल्ली चुनाव में पूरी तरह से आदर्श आचार संहिता का पालन कर रही है और भाजपा की ऐसी गतिविधियाँ चुनाव प्रक्रिया को प्रभावित करने की कोशिश कर रही हैं। उनका कहना था कि चुनाव आयोग को इसे गंभीरता से लेना चाहिए और ऐसी गतिविधियों को रोकने के लिए सख्त कदम उठाने चाहिए।
भाजपा का रुख
भा.ज.पा. की ओर से अभी तक इस मामले पर कोई औपचारिक बयान सामने नहीं आया है। हालांकि, भाजपा के कुछ सूत्रों ने आम आदमी पार्टी के आरोपों को बेहद बेबुनियाद बताया है। भाजपा का कहना है कि आरोप पूरी तरह से झूठे और राजनीतिक साजिश का हिस्सा हैं। पार्टी का कहना है कि इन आरोपों का कोई आधार नहीं है और यह सिर्फ AAP का चुनावी दांव है।
हालांकि, यदि आरोप साबित होते हैं तो प्रवेश वर्मा और उनके समर्थकों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई हो सकती है। इससे भाजपा को चुनावी मैदान में एक बड़ा झटका लग सकता है।